Kesri Singh RPSC Controversy: विधानसभा चुनाव से पहले राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) में एक सदस्य की नियुक्ति को लेकर सूबे की सियासत गरमा गई है. दरअसल, आरपीएससी में मेंबर नियुक्त किए गए कर्नल केसरी सिंह (Colonel Kesari Singh) के जाति विशेष पर दिए गए बयान सोशल मीडिया पर तेजी के साथ वायरल हो रहे हैं. इससे उनकी नियुक्ति को लेकर सरकार पर सवाल खड़े हो रहे हैं. मामला यहां तक आ पहुंचा कि सीएम अशोक गहलोत ने उनकी नियुक्ति को अपनी गलती बताया है.
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कर्नल केसरी सिंह राठौड़ नागौर जिले के निवासी हैं और मकराना विधानसभा के गांव शिवरासी के रहने वाले हैं. केसरी ने भारतीय सेना में 21 वर्षों तक सेवाएं देकर स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ली. इसके बाद वह राजनीति और सामजिक कार्यों में सक्रिय हो गए. वहीं मकराना सीट से चुनाव लड़ने की उनकी चर्चाएं थी. लेकिन इन्हें आरपीएससी सदस्य बना दिया गया है.
क्यों हो रहा है केसरी सिंह का विरोध?
कर्नल केसरी सिंह के सोशल मीडिया पेज पर अपलोड किए गए वीडियो ही उनकी नियुक्ति पर हो रहे विवाद की मुख्य वजह है. 22 साल तक सेना में रहने के बाद वह समाज के कार्यक्रमों में व्यस्त हो गए थे. राजपूत समाज के लोगों के साथ मीटिंग्स में उन्होंने कई ऐसे भाषण दिए जिसमें वह दूसरी जातियों के लिए कई आपत्तिजनक बातें कहते नजर आए. जाट, गुर्जर और अन्य जातियों के बारे में अशोभनीय टिप्पणियां करने के कई वीडियो सोशल मीडिया पर मौजूद हैं. केसरी सिंह के आरपीएससी मेंबर बनते ही यह वायरल होने लगे जिससे उनकी नियुक्ति को लेकर सरकार को निशाना बनाया जाने लगा.
गैंगस्टर आनंदपाल सिंह को बता चुके हैं अपना आदर्श
नव नियुक्त आरपीएससी मेंबर केसरी सिंह कुख्यात गैंगस्टर रहे आनंदपाल सिंह को अपना आदर्श बता चुके थे. यहां तक की उसकी पुण्यतिथि पर रक्तदान शिविरों का आयोजन भी उन्होंने करवाया था. इन्हीं सब कारणों से केसरी सिंह का लगातार विरोध हो रहा है. बीते कुछ दिनों से इस विरोध के कारण उनका नाम सोशल मीडिया प्लैटफॉर्म ट्विटर पर भी ट्रेंड कर रहा है. इसलिए केसरी सिंह की नियुक्ति को लेकर गहलोत सरकार की चिंता बढ़ गई है.
CM गहलोत बोले- मुझसे गलती हो गई
सीएम गहलोत ने कर्नल केसरी सिंह की नियुक्ति को लेकर कहा, “हमने तो आर्मी का बैकग्राउंड देखकर उन्हें RPSC मेंबर बनाया था. लेकिन उनके पुराने बयान देखकर मुझे बहुत दुख हुआ. मुझसे गलती हो गई. मैंने ही आर्मी के बैकग्राउंड को देखते हुए उसे मेंबर बनाया था. हमारा लालच था कि हमारी मकराना की सीट खराब ना हो. मेंबर बनने के बाद केसरी सिंह ने मुझसे शिष्टाचार भेंट तक नहीं की. मुझे दुख है कि मैंने उनके नाम की सिफारिश की.”
जाट समाज बोला- ‘जाते-जाते कांग्रेस की कब्र खोद गए गहलोत’
वहीं गहलोत की सोशल मीडिया पोस्ट पर जाट समाज ने प्रतिक्रिया देते हुए लिखा, “गहलोत जाता जाता कांग्रेस की कब्र खोद गया आखिरी घंटो में. जो काम भाजपा राजस्थान में पिछले 5 सालों में नहीं कर पाई थी. खुद भी डूबा और सरकार को भी डूबा दिया. लोकतंत्र की हत्या की जो बात करता था, उसको ही राजस्थान की कांग्रेस सरकार ने RPSC सदस्य नियुक्त किया है. 35 कौम के लिए जहर उगलने वाला व्यक्ति राजस्थान के युवाओं के साथ न्याय नहीं कर सकता.”
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