Rajasthan Election: PM मोदी के बयान पर सचिन पायलट का पलटवार; बोले- मुद्दों की बात से भागती है BJP
Rajasthan Election: पीएम मोदी ने सचिन पायलट (Sachin Pilot) और उनके पिता को लेकर कांग्रेस पर तंज कसा. भीलवाड़ा (Bhilwara) में एक जनसभा में पीएम मोदी (PM Modi) ने यह बयान दिया
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Rajasthan Election: राजस्थान में चुनावी घमासान जारी है. इसी बीच बुधवार को पीएम मोदी ने सचिन पायलट (Sachin Pilot) और उनके पिता को लेकर कांग्रेस पर तंज कसा. भीलवाड़ा (Bhilwara) में एक जनसभा को संबोधित करते हुए पीएम मोदी (PM Modi) ने कहा कि ‘कांग्रेस पार्टी में जो भी 1 परिवार से टकराता है वो हमेशा के लिए खत्म हो जाता है.’ अब पीएम के इस बयान को सचिन पायलट ने तथ्यहीन बताया है.
एक समाचार एजेंसी से बातचीत करते हुए पायलट ने कहा, ‘मेरे पिता ने इंदिरा जी से प्रभावित होकर जनसेवा का रास्ता अपनाया. गांधी परिवार से दशकों से हमारे परिवार के पारिवारिक संबंध हैं, मेरे वर्तमान और भविष्य की चिंता ना करें. क्योंकि मेरी पार्टी और जनता ये बेहतरीन तरीक से काम कर रही है. ध्यान भटकाने के लिए इस तरह की बयानबाजी की जाती है.’
मुद्दों से ध्यान भटकाने के लिए दिया बयान: पायलट
पायलट ने कहा मेरे पिता ने कांग्रेस में रहते जीवनभर सांप्रदायिक ताकतों के खिलाफ लड़ाई लड़ी. जहां तक उन्होंने मेरे बारे में कहा तो मेरे वर्तमान और भविष्य की चिंता किसी को नहीं करनी चाहिए. पायलट ने कहा ऐसे बयान से लगता है बीजेपी बैकफुट है, क्योंकि अलग-अलग राज्यों में कांग्रेस जीत रही है. राजस्थान के लिए भी ऐसे बयान मुद्दों पर भटकाने के लिए दिए जाते हैं. मुद्दों की बात करने से बीजेपी भागती है इसलिए बीजेपी ऐसे तथ्यहीन बयान देती है.
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पीएम ने दिया था यह बयान
भीलवाड़ा में पीएम मोदी ने कहा था, “राजेश पायलट ने गांधी परिवार को चुनौती देने की कोशिश की थी. वह तो अब नहीं रहे. अब राजेश पायलट की सजा उनके बेटे सचिन पायलट को दी जा रही है. कांग्रेस पार्टी में जो भी 1 परिवार से टकराता है वो हमेशा के लिए खत्म हो जाता है”
राजेश पायलट ने सीताराम केसरी के खिलाफ चुनाव लड़ा: कांग्रेस
पीएम के बयान पर कांग्रेस ने पलटवार किया. कांग्रेस के मीडिया हेड पवन खेड़ा ने लैटर जारी कर बताया कि स्वर्गीय राजेश पायलट जी, इंदिरा गांधी एवं राजीव गांधी से प्रेरित हो कर भारतीय वायु सेना की नौकरी छोड़ कर राजनीति में आए. वह न केवल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता थे बल्कि इस देश में सांप्रदायिक ताकतों के खिलाफ हमेशा लड़ते रहे. राजेश पायलट जी ने कांग्रेस की लोकतांत्रिक प्रक्रिया के तहत सीताराम केसरी के विरुद्ध कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव लड़ा. प्रधानमंत्री अपने आधे-अधूरे ज्ञान की वजह से भूल गए कि उस वक्त सोनिया गांधी सक्रिय राजनीति में नहीं थी. ना ही गांधी परिवार का कोई अन्य सदस्य उस समय राजनीति में था.
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