Exclusive: फिल्म ‘ए टेलर मर्डर स्टोरी’ के प्रोड्यूसर बोले– देश को पता चलना चाहिए सच
A Tailor Story movie on Udaipur’s Kanhaiya lal murder case: पिछले साल 28 जून 2022 को राजस्थान के उदयपुर (Udaipur News) में एक टेलर कन्हैलायाल साहू की रियाज अत्तारी और मोहम्मद गौस ने बेरहमी से हत्या कर डाली थी. उदयपुर के इस बर्बर हत्याकांड (Murder case) ने पूरे देश को हिलाकर रख दिया. अब इस […]
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A Tailor Story movie on Udaipur’s Kanhaiya lal murder case: पिछले साल 28 जून 2022 को राजस्थान के उदयपुर (Udaipur News) में एक टेलर कन्हैलायाल साहू की रियाज अत्तारी और मोहम्मद गौस ने बेरहमी से हत्या कर डाली थी. उदयपुर के इस बर्बर हत्याकांड (Murder case) ने पूरे देश को हिलाकर रख दिया. अब इस वारदात को 1 साल से ज्यादा बीत चुका है. लेकिन यह मामला एक बार सुर्खियों में है.
इसके पीछे वजह है घटना पर लॉन्च होने जा रही फिल्म ‘ए टेलर मर्डर स्टोरी’. जिसे फिल्म प्रॉडेक्शन हाउस JANI FIREFOX के अमित जानी तैयार कर रहे हैं. अजमेर फाइल्स (Ajmer Files) हो या ए टेलर मर्डर स्टोरी, विधानसभा चुनाव के दौरान ही फिल्म लॉन्चिंग को लेकर कई तरह के सवाल भी उठ रहे हैं. साथ ही सवाल इस मूवी के फिल्मांकन को लेकर भी है. इन तमाम सवालों के जवाब खुद अमित जानी ने दिए.
राजस्थान तक से खास बातचीत में उन्होंने बताया कि यह मूवी नवंबर में आ जाएगी. उससे पहले अक्टूबर में इसका ट्रेलर आ रहा है. साथ ही राजस्थान विधानसभा चुनाव के दौरान रिलीज होने वाली फिल्म की टाइमिंग पर सवाल को लेकर जानी ने राजस्थान सरकार को कटघरे में खड़े करते हुए कहा कि इस निर्मम हत्याकांड के बारे में पूरे देश को पता चलना चाहिए कि कैसे हमारा सिस्टम आंख मूंद लेता है.
सवालः कन्हैयालाल हत्याकांड के 1 साल बाद आप मूवी ला रहे हैं, इसकी वजह सियासी है?
जवाबः इस फिल्म के पीछे सियासत नहीं है. सत्य आधारित घटना पर फिल्म बनाने में सालभर तो लगता ही है. इसके लिए फिल्म की स्क्रिप्ट लिखी, फिर स्क्रीनप्ले और फिर डायलॉग लिखा. जो जैसा करेगा, उसका परिणाम मिलेगा. साल 2017 में मुजफ्फरनगर दंगों का रिजल्ट अखिलेश यादव को देखने को मिला.
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सवालः आपने अखिलेश यादव का जिक्र किया, आप खुद भी समाजवादी पार्टी के सदस्य रह चुके हैं. इस फिल्म के जरिए कही आप बीजेपी में रास्ता तो तलाश नहीं कर रहे?
जवाबः मैं अखिलेश यादव के साथ रहा. जब मुजफ्फनगर दंगें हुए तो मैंने विरोध जताता कि इस तरह एकतरफा कार्रवाई मत करिए. जब मैं अयोध्या जाता था तो रामलला के दर्शन करने जरूर जाता था, लेकिन वह मना करते थे. मैंने कभी अपनी संस्कृति नहीं छोड़ी. मेरे और अखिलेश यादव के बीच कई ऐसे मुद्दे रहे, जिस पर मेरी उनसे नहीं बनी. पार्टी की ओर से मुझे कई बार बीजेपी का एजेंट कहा गया. लेकिन मैं यह बताना चाहता हूं कि मैंने कभी बीजेपी की सदस्यता नहीं ली.
सवालः लोग सवाल पूछ रहे हैं कि इसके लांच कने से किसको फायदा या किसको नुकसान होगा?
जवाबः इस बर्बर हत्याकांड के दौरान एक नारा लगा, सर तन से जुदा…हमने इस नारा लगाने वाले उन आरोपियों का जेंडर, धर्म या पहचान नहीं बदली. जो सच है, फिल्म में हम वहीं दिखा रहे हैं.
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सवालः आपने उस लाइन का जिक्र किया, उस लाइन को भी मूवी के टीजर में आक्रामक तौर पर दिखाया है, क्या इसके साइड इफेक्ट होंगे?
जवाबः उसके कोई साइड इफेक्ट नहीं है. पूरे देश में इस हत्याकांड के बाद जो माहौल बना, उस वक्त तो ‘सर तन से जुदा नारा’ यही नारा लग रहा था ना. अब उससे किसी को दिक्कत है तो हम क्या करें. कश्मीर फाइल्स हो या केरला फाइल्स, कहा गया कि यह प्रोपेगेंडा है. इसे भी कहा जाएगा कि यह बीजेपी का प्रोपेगेंडा है. लोग कहेंगे कि अमित जानी को बीजेपी से फायदा लेना है, कहने वाले तो कहेंगे.
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सवालः ए टेलर स्टोरी हो या अजमेर फाइल्स, राजस्थान, एमपी या छत्तीसगढ़ समेत आगामी विधानसभा चुनाव से पहले मूवी की टाइमिंग पर सवाल उठ रहे हैं?
जवाबः खासकर वो लोग ही सवाल करेंगे जिन्हें उम्मीद प्रदेश की जनता से है कि कन्हैलायाल हत्याकांड जैसे मामला देश भूल जाए. लेकिन फिल्मकारों का काम है कि समाज का आईना बने. ऐसी घटना को बताया जाए. साथ ही यह बताया जाए कि इसे राजस्थान या उदयपुर को ही क्यों चुना गया. हमने इसके लिए एनआईए की चार्जशीट पढ़ी है. ट्रायल केस में हम छेड़छाड़ नहीं कर सकते हैं. हमने उसे समझते हुए ही पटकथा लिखी है.
सवालः इस मूवी के दौरान ही आपने सीमा हैदर को मूवी का ऑफर दिया. क्या अमित जानी सुर्खियों में बने रहने के लिए इस तरह के स्टंट कर रहे हैं?
जवाबः स्क्रिप्ट, डायलॉग के बाद अब मौका है कास्टिंग का. जल्द ही हमें मूवी रिलीज कर देनी है. सीमा हैदर को लेकर हमने सुना कि सचिन के घर में परेशानी है, आर्थिक संकट है. कहा गया कि भाभी अंजू तो पाकिस्तान में खुश है और सीमा हैदर भारत आकर परेशान है. फिर हमने सोचा कि सीमा हैदर की मदद करनी चाहिए. हमने सोचा कि क्राउड फंडिंग करें. लेकिन मुझे लगा कि ऐसे तो कहा जाएगा कि हालात ऐसे भारत में कि चंदा करना पड़ रहा है. फिर मैंने एक दिन सीमा हैदर को टीवी पर देखा कि उसने कहा कि मुझे फिल्मों में जाना है. मैंने उसे देखा तो लगा कि ये तो मेरे फिल्म का कैरेक्टर है. हमारी पटकथा में एक अंडरकवर एजेंट है जो पाकिस्तान में भारत के लिए काम कर रही है. हमने सीमा से कहा कि यह तुम्हारा रोल है. हमें पैसा तो देना ही है और एक पैसा तुम्हें भी चला जाएगा.
सवालः इस फिल्म के दौरान कलाकारों के साथ अच्छे-बुरे क्या अनुभव रहें?
जवाबः इस मूवी में वो लोग आए जो अपेक्षित थे और थिएटर आर्टिस्ट है. इस मूवी में सलमान, शाहरूख नहीं है. किसी को लगता है कि सीमा को ले लिया. इस फिल्म के बाद बंगाल पर मूवी है, उसके लिए भी कलाकार फाइनल करेंगे.
सवालः भरतपुर का जुनैद-नासिर हत्याकांड भी हुआ या हाल ही में मणिपुर हिंसा हुई. इस सब्जेक्ट पर आप फिल्म कब बना रहे हैं?
जवाबः कोई फिल्म अगले दिन नहीं बनती. अगर मौका लगेगा कभी तो मणिपुर की भी बात करेंगे. जो लोग कह रहे हैं कि फिल्म कब बनेगी तो मैं कहना चाहता हूं. ये लोग तो तब भी चिल्लाएंगे कि इसे ऐसे नहीं वैसे दिखाना चाहिए था. जिन्हें चिल्लाना वो चिल्लाएंगे.
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