Mayawati’s nephew Akash Anand seen in action mode: राजस्थान विधानसभा चुनाव (rajasthan assembly elections) को लेकर बसपा सुप्रीमो मायावती (BSP Supremo Mayawati) के भतीजे और पार्टी के नेशनल कॉर्डिनेटर आकाश आनंद (Akash Anand) एक्शन मोड में आ गए हैं. उन्होंने बुधवार से प्रदेशभर में संकल्प यात्रा की शुरुआत कर चुनाव का बिगुल फूंक दिया है. आकाश आनंद ने कहा कि राजस्थान में अगर हमारी सरकार आती है तो सबसे पहले कानून व्यवस्था पर ध्यान दिया जाएगा.
ADVERTISEMENT
पिछले विधानसभा चुनाव में जीतने के बाद बसपा छोड़कर कांग्रेस जॉइन करने वाले विधायकों को लेकर आकाश आनंद ने कहा, “ऐसे विधायकों को किसी भी हाल में टिकट नहीं दिया जाएगा. जो पार्टी छोड़कर गए वे दोबारा से पार्टी में नहीं आएंगे. बहन जी ने इस बारे में पहले ही सब कुछ क्लियर कर दिया है.”
‘संकल्प यात्रा का उद्देश्य सिर्फ सत्ता परिवर्तन’
संकल्प यात्रा के बारे में सवाल करने पर आकाश आनंद ने कहा कि इसका उद्देश्य सिर्फ एक है सत्ता परिवर्तन. उसके बाद सामाजिक परिवर्तन है. उन्होंने बताया कि यह संकल्प यात्रा 12 दिन चलेगी और राजस्थान के हर जिले से होकर निकलेगी. 16 तारीख से यह चालू हुई है और इसका समापन 29 तारीख को जयपुर में होगा.
हम सभी 200 सीटों पर चुनाव लड़ेंगे: आकाश आनंद
बसपा नेता आकाश आनंद ने कहा कि हमने हमेशा 200 विधानसभा सीटों पर ही चुनाव लडा है और आगे भी 200 सीटों पर ही चुनाव लड़ते रहेंगे. उन्होंने कहा कि हम मजबूती के साथ चुनाव लड़ेंगे और अगर हमारी सरकार आती है तो हम जनता की सेवा करेंगे. हमारा काम जनता की सेवा करना है. हम जनता के नौकर हैं और हम जनता की सेवा करेंगे.
‘विरोध प्रदर्शन करने का बीएसपी का तरीका अलग है’
जब आकाश आनंद से यह पूछा गया कि राजस्थान में दलितों के साथ अत्याचार के समय बीएसपी ने कोई धरना प्रदर्शन नहीं किया तो उन्होंने कहा कि “बसपा का एक नियम है धरना प्रदर्शन और विरोध प्रदर्शन का, उसके तहत हम धरना प्रदर्शन करते हैं. आप जिसका नाम (चंद्रशेखर आजाद) ले रहे हैं उनके तरीके से काम करेंगे तो जो पार्टी सत्ता में नहीं है उनको नुकसान पहुंचता है. युवाओं पर मुकदमे दर्ज हो जाते हैं तो उनको आगे मौका नहीं मिल पाता है. यह समझने की जरूरत है.”
चंद्रशेखर भी साध रहे दलित वोट बैंक
वहीं, बीएसपी के सामने आजाद समाज पार्टी के चंद्रशेखर आजाद भी चुनौती पेश कर रहे हैं. पिछले कुछ महीनों से लगातार राजस्थान का दौरा कर रहे हैं. चुनावी साल में दलित वोट बैंक के सहारे राजनीति की जुगत में जुटे आजाद प्रदेश में लगातार दलित उत्पीड़न का मुद्दा उठा रहे हैं. हाल ही में जब यूपी के सहारनपुर में उन पर हमला हुआ था, तो उसके बाद उन्होंने पहला दौरा भरतपुर जिले का किया.
यह भी पढ़ें: Rajasthan में BSP ने 5 विधानसभाओं में घोषित किए प्रत्याशी, जानिए किसको कहां से मिला टिकट
ADVERTISEMENT