Ajmer News: एसओजी की निलंबित एडिशनल एसपी दिव्या मित्तल को शुक्रवार को एक बार फिर कोर्ट ने 15 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया है. एसीजेएम कोर्ट में दिव्या मित्तल का वॉइस सैंपल भी लिया जाना था, लेकिन उनके वकील ने एक रिव्यू पीटिशन दायर कर वॉइस सैंपल देने से इनकार कर दिया.
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बताया जा रहा है कि सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के आधार पर दिव्या मित्तल के वकील प्रीतम सोनी ने एक रिव्यू पीटिशन दायर की जिसमें कई तकनीकी कारणों का भी उल्लेख किया गया है जिसके चलते दिव्या मित्तल के वॉयस सैंपल नहीं हो सके. जानकारी के अनुसार दिव्या मित्तल की ओर से अग्रिम जमानत के लिए हाई कोर्ट में भी एक याचिका दायर की गई थी, जिसपर अभी तक कोई निर्णय नहीं आया है.
आरोप है कि एसओजी में एडिशनल एसपी पद पर रहते हुए दिव्या मित्तल ने नशीली दवा कारोबारी को जांच में सहयोग करने के नाम पर 2 करोड़ रुपए की रिश्वत मांगी थी जो कि बाद में 50 लाख में जाकर फाइनल हुई. एसीबी ने दिव्या मित्तल को रंगे हाथों गिरफ्तार करने के लिए जाल बिछाया था, लेकिन एसीबी की कार्रवाई की भनक दिव्या को पहले ही लग गई. इसलिए उन्होंने और उनके दलाल ने रिश्वत की राशि नहीं ली. जिसके बाद एसीबी की जयपुर इकाई ने कोर्ट के आदेश पर दिव्या मित्तल के कई ठिकानों पर छापामार कार्रवाई करते हुए उन्हें उनके अजमेर स्थित आवास से उन्हें गिरफ्तार किया था.
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